राजस्थान 1st न्यूज,नेटवर्क। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बयान को लेकर देशभर में बयान जारी हो रहे है। लगातार विपक्षी दलों के नेता पीएम और भाजपा सरकार पर हमलावर है। वहीं दूसरी और विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर जानकारी दी है कि बीते 24 घंटे में पीएम मोदी और ट्रंप के बीच कोई बातचीत ही नहीं हुई है। ऐसे में ट्रंप का बयान सवालों के घेरे में है कि आखिर ट्रंप ने ऐसा क्यों दिया।
दरअसल अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने दावा किया था कि बुधवार को पीएम मोदी ने उनसे कहा है कि भारत अब रूस से तेल नहीं खरीदेगा। भारत के रूस से तेल खरीदने से मुझे खुशी नहीं थी। अब हमें चीन से भी यही करवाना होगा। ट्रम्प ने अगस्त 2025 में भारत पर रूस से तेल खरीदने की वजह से 25 प्रतिशत एक्स्ट्रा टैरिफ लगाया है। इस तरह अमेरिका अब तक भारत पर कुल टैरिफ 50 प्रतिशत लगा चुका है।


ट्रम्प ने मीडिया के सवालों का जवाब देते हुए यह भी कहा कि, हाल में भारत में अमेरिकी राजदूत बनने जा रहे सर्जियो गोर और पीएम मोदी की मुलाकात हुई थी इस मीटिंग के बाद सर्जियो ने मुझे बताया कि, वे (मोदी) ट्रम्प से प्यार करते हैं, हालांकि मैं चाहूंगा कि यहां प्यार शब्द का गलत मतलब न निकालें, मैं किसी का पॉलिटिकल करियर खराब नहीं करना चाहता।
मैंने सालों से भारत को देखा है, वहां हर साल सरकार बदल जाती है। मेरे दोस्त (मोदी) लंबे समय से वहां पर हैं। उन्होंने भरोसा दिया कि भारत अब रूस से तेल नहीं खरीदेगा। ट्रम्प के दावे पर भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, भारत तेल और गैस का बड़ा खरीदार है। जनता के हितों की रक्षा करना हमारी प्राथमिकता रही है। हमारी आयात नीतियां इसी मकसद को पूरी करती हैं। ऊर्जा नीति के दो लक्ष्य हैं, पहला स्थिर कीमतें तय करना और दूसरा सुरक्षित आपूर्ति बनाए रखना।
जायसवाल ने आगे कहा, इसके लिए हम ऊर्जा स्रोतों को व्यापक बनाते हैं और बाजार स्थितियों के अनुसार विविधता लाते हैं। जहां तक अमेरिका का सवाल है, हम कई सालों से अपनी ऊर्जा खरीद का विस्तार करने का प्रयास कर रहे हैं। पिछले दशक में इसमें लगातार प्रगति हुई है। उन्होंने बताया कि अमेरिकी प्रशासन ने भारत के साथ ऊर्जा सहयोग को बढ़ाने में रुचि दिखाई है। इस पर चर्चाएं जारी हैं।






